रायपुर में कांग्रेस की ‘जवान-किसान-संविधान महासभा’: मल्लिकार्जुन खड़गे से अरुण वोरा की भावनात्मक मुलाकात बनी चर्चा का केंद्र

रायपुर में कांग्रेस की ‘जवान-किसान-संविधान महासभा’: मल्लिकार्जुन खड़गे से अरुण वोरा की भावनात्मक मुलाकात बनी चर्चा का केंद्र

रायपुर में रविवार को कांग्रेस द्वारा आयोजित 'जवान-किसान-संविधान महासभा' राजनीतिक और भावनात्मक दोनों ही दृष्टियों से खास रही। कार्यक्रम में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे का ज़ोरदार स्वागत किया गया। वहीं दुर्ग से पूर्व विधायक अरुण वोरा और खड़गे के बीच हुई आत्मीय भेंट का दृश्य सभा की खास झलक बना, जब खड़गे ने सम्मानस्वरूप मिली कोसा शाल वापस उन्हें पहना दी और कहा — "यह मेरा आशीर्वाद है।"

रायपुर। छत्तीसगढ़ की राजधानी में रविवार को कांग्रेस पार्टी द्वारा आयोजित ‘जवान-किसान-संविधान महासभा’ ने राजनीतिक माहौल को गर्मा दिया। साइंस कॉलेज मैदान में आयोजित इस महासभा में भारी बारिश के बावजूद कार्यकर्ताओं और आमजनों की भीड़ उमड़ पड़ी।

इस सभा को अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष श्री मल्लिकार्जुन खड़गे और एआईसीसी के संगठन महासचिव श्री केसी वेणुगोपाल ने संबोधित किया।

खड़गे ने अपने उद्बोधन में केंद्र की भाजपा सरकार पर तीखा हमला बोलते हुए कहा,

> "जब संविधान खतरे में है, किसान संकट में है और युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा, तब कांग्रेस चुप नहीं बैठ सकती। जनता अब भाजपा के झूठे वादों से ऊब चुकी है।"

इस सभा का मूल उद्देश्य देश के तीन बुनियादी स्तंभ — जवान, किसान और संविधान की रक्षा के संकल्प को दोहराना था।

???? अरुण वोरा की भावनात्मक मुलाकात बनी आकर्षण का केंद्र

सभा से पहले एयरपोर्ट पर खड़गे का स्वागत करने पहुंचे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और दुर्ग के पूर्व विधायक अरुण वोरा ने उन्हें छत्तीसगढ़ की पारंपरिक कोसा शाल भेंट कर सम्मानित किया। खड़गे ने सादगी और अपनत्व का परिचय देते हुए वही शाल वापस अरुण वोरा को पहना दी और उसे “आशीर्वाद” बताया।

वोरा ने इस क्षण को भावुकता से याद करते हुए कहा:

> “श्री खड़गे जी की सादगी और संवेदनशीलता ही कांग्रेस की असली शक्ति है। उनके नेतृत्व में हम और ज़िम्मेदार बनते हैं।”

???? महासभा में उठे जन सरोकारों के मुद्दे:

सभा में विभिन्न जनसमस्याओं और नीतिगत विफलताओं को प्रमुखता से उठाया गया, जिनमें शामिल थे:

युवाओं में बेरोज़गारी और भर्ती घोटालों पर चिंता

किसानों के लिए खाद, बीज, MSP व बिजली की कमी

संवैधानिक संस्थाओं पर हमले और लोकतंत्र की गिरती स्थिति

महिला सुरक्षा, आदिवासी अधिकारों, शराब नीति व नगरनार विनिवेश पर विरोध

> "देश का निर्माण जवान, किसान और संविधान से हुआ है। आज यही तीनों संकट में हैं। भारत दुनिया का सबसे युवा देश है, लेकिन युवाओं में बेरोज़गारी तेजी से बढ़ रही है। किसान आज भी उपेक्षित है, और संवैधानिक संस्थाएं कमजोर की जा रही हैं। कांग्रेस हर मोर्चे पर इन मूल्यों की रक्षा करेगी — न हम डरेंगे, न रुकेंगे, न झुकेंगे।"

सभा के पश्चात खड़गे ने कांग्रेस की प्रदेश राजनीतिक समिति और कार्यकारिणी की विस्तारित बैठकें लीं। इन बैठकों में आगामी चुनावी रणनीतियों, संगठन के विस्तार और जन मुद्दों पर व्यापक चर्चा की गई।