वाद-विवाद ने छीनी जान: ईंट-भट्ठा मुंशी की टंगिया से हत्या
- ईंट भट्ठा चंगोरी के लेबर क्वार्टर में शराब पार्टी के दौरान हुआ विवाद
- तीन मजदूरों ने मिलकर मुंशी किशन लाल साहू को उतारा मौत के घाट
- हत्या को हादसा दिखाने का किया गया प्रयास, पुलिस ने किया भंडाफोड़
- टंगिया, खून से सने कपड़े व शराब की बोतल बरामद
- एक नाबालिग समेत तीन आरोपी गिरफ्तार, न्यायिक रिमांड पर भेजा गया
दुर्ग जिले के चंगोरी स्थित शिवलाल ईंट भट्ठा में मामूली विवाद ने खूनी रूप ले लिया। शराबखोरी के बीच बढ़े झगड़े में भट्ठा मुंशी किशन लाल साहू की बेरहमी से हत्या कर दी गई। वारदात को अंजाम देने वाले तीन मजदूरों में एक नाबालिग भी शामिल है। पुलिस ने घटना का खुलासा करते हुए आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर भेज दिया है।
दुर्ग। चंगोरी गांव स्थित शिवलाल ईंट भट्ठा के लेबर क्वार्टर में 24 अगस्त की रात उस समय सनसनीखेज वारदात हो गई जब भट्ठा मुंशी किशन लाल साहू (45) की टंगिया से हमला कर हत्या कर दी गई। यह घटना शराब पार्टी के दौरान हुए विवाद से उपजी।
पुलिस चौकी अंजोरा को पहले जानकारी दी गई थी कि किशन लाल साहू क्वार्टर के दरवाजे के पास रखी टंगिया पर गिर गए थे, जिससे सिर में चोट आने से उनकी मौत हो गई। लेकिन मर्ग जांच के दौरान पुलिस को संदेह हुआ और गहराई से पूछताछ करने पर सच सामने आया।
जांच में खुलासा हुआ कि मृतक मुंशी और तीन मजदूर—काशीराम चौहान, धनसाय साहू और एक नाबालिग—एक ही क्वार्टर में रहते थे। आए दिन खाने-पीने को लेकर मुंशी उनसे झगड़ा करता था। घटना वाली रात ये तीनों शराब पी रहे थे, तभी पुरानी रंजिश के चलते वाद-विवाद बढ़ गया। गुस्से में आरोपी धनसाय और नाबालिग ने मुंशी को पकड़कर पीटना शुरू किया और तभी काशीराम चौहान ने पास रखी टंगिया से सिर पर वार कर दिया। गंभीर रूप से घायल मुंशी को अस्पताल ले जाया गया, जहां 25 अगस्त की सुबह उसकी मौत हो गई।
आरोपियों ने साजिशन इस हत्या को हादसा बताने की कोशिश की। उन्होंने भट्ठा मालिक को फोन कर यह कहानी गढ़ी कि किशन लाल शराब के नशे में दौड़ते वक्त टंगिया पर गिर गए। हालांकि, पुलिस की सख्त पूछताछ में उनका झूठ बेनकाब हो गया।
जांच के दौरान आरोपी काशीराम की निशानदेही पर हत्या में प्रयुक्त टंगिया, शराब की बोतल और खून से सना कपड़ा बरामद किया गया। धनसाय के कपड़ों से भी खून के धब्बे मिले। तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर भेज दिया गया है।
इस खुलासे में चौकी प्रभारी अंजोरा संतोष कुमार साहू, उनकी टीम और एसीसीयू की अहम भूमिका रही।