'शराबबंदी को लेकर कांग्रेस ने नहीं खाई गंगाजल की कसम':राजनांदगांव प्रत्याशी गिरीश देवांगन बोले- जनता के बीच भ्रम फैला रही बीजेपी

राजनांदगांव विधानसभा सीट से बीजेपी ने पूर्व सीएम डॉ. रमन सिंह और कांग्रेस ने गिरीश देवांगन को अपना प्रत्याशी बनाया है। गिरीश देवांगन ने कहा कि छत्तीसगढ़ में शराबबंदी को लेकर उनकी सरकार गंभीर है। कांग्रेस सरकार ने कभी भी शराबबंदी के लिए हाथ में गंगाजल लेकर कसम नहीं खाई थी। ये भाजपाइयों की तरफ से भ्रम फैलाने के लिए किया जा रहा है।
सोमवार को नामांकन दाखिल करने के बाद गिरीश देवांगन ने कहा कि 2018 में वो कांग्रेस के महामंत्री प्रशासन थे और शैलेश नितिन त्रिवेदी मीडिया के चेयरमैन थे। उस समय उनके लेटर पैड को किसी भाजपा के साथी ने चुरा लिया। उसने उस लेटर पैड का इस्तेमाल जनता के बीच फेक मैसेज देने के लिए इस्तेमाल किया। उसने मेरे लेटर पैड में शैलेश का दस्तखत कर वायरल किया।
उस लेटर बैड में भाजपा ने लिखा था कि अभी चुनाव के समय 2500 देंगे और चुनाव के बाद कोई कर्जा माफी की बात नहीं होगी। इस तरह का एक भ्रम वाला लेटर बीजेपी ने वायरल किया। इसके बाद दिल्ली से हमारे नेताओं ने मीडिया की उपस्थिति में गंगाजल लेकर ये कसम खाई कि किसानों का कर्ज माफ होगा और 2500 रुपए में धान खरीदी होगी।
कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता आरपीएन सिंह ने खाई थी गंगाजल की कमस
बता दें कि उस समय हाथ में गंगाजल लेकर कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता आरपीएन सिंह और राष्ट्रीय प्रवक्ता रधिका खेड़ा जयदीप शेरगिल और अन्य ने कसम खाई थी। उन्होंने कहा था कि हमारी सरकार आएगी तो 10 दिन के अंदर किसानों का लोन माफ करेगी। कांग्रेस जो वादा करती है उसे पूरा करती है।
गिरीश देवांगन ने प्रेस वार्ता में कहा कि शराब एक सामाजिक बुराई है। छत्तीसगढ़ राज्य की सीमा से 7 राज्यों की सीमा जुड़ी है। सरकार इस दिशा में काम कर रही है। अलग-अलग संगठन से बात कर निवेदिन किया गया है, वो इसको लेकर जागरूकता लाएं। इस दिशा में समाज भी काम करे। सामाजिक जागरूकता के साथ इस पर लगाम कसी जाएगी।
लॉकडाउन के समय भी लोगों तक पहुंची शराब
गिरीश देवांगन ने यह भी स्वीकार किया कि कांग्रेस शासन काल में जब संपूर्ण लॉकडाउन हुआ था, तब भी लोगों तक शराब पहुंच रही थी। लोग शराब पीकर मर रहे थे। तब मुख्यमंत्री का स्पष्ट किया था कि उनकी सरकार कोई भी ऐसा काम नहीं करेगी, जिसमें जनता की जान जाए।
उन्होंने कहा कि ये जागरूकता के साथ साथ होगा। इसके लिए नशा मुक्ति के केंद्र भी बढ़ाने पड़ेंगे। नशा मुक्ति के अभियान चलाने पड़ेंगे। सरकार आम जनता के अनुरूप काम कर रही है।
पैराशूट प्रत्याशी की बात पर कर की मोदी से तुलना
गिरीश देवांगन से जब सवाल किया गया कि राजनांदगांव की जनता उनको प्रत्याशी बनाए जाने से खफा है। जनता उन्हें पैराशूट प्रत्याशी बता रही है। इस पर उन्होंने कहा कि राजनीति में कोई चीज पैराशूट नहीं होती। जिसे जो जिम्मेदारी दी जाती है उसे निभाना पड़ता है।
उन्होंने अपनी तुलना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कर डाली और कहा कि जब नरेंद्र मोदी गुजरात के रहने वाले हैं और वाराणसी से चुनाव लड़ सकते हैं, तो वो राजनांदगांव से क्यों नहीं, जबकि राजनांदगांव उनका मामा घर है।