रायपुर में संक्रमण की चपेट में जंगल सफारी के जानवर:अब तक 24 चौसिंगा, 3 काले हिरण, 1 नीलगाय की मौत; पर्यटकों को भी खतरा

वा रायपुर अटल नगर में स्थित एशिया के सबसे बड़े जंगल सफारी में दुर्लभ वन्य प्राणी जानलेवा संक्रमण की चपेट में हैं। बीते एक हफ्ते में 24 चौसिंगा, तीन काले हिरण और एक नीलगाय की मौत हो गई। जंगल सफारी के सूत्र चार चौसिंगा, एक नीलगाय और एक काले हिरण की हालत चिंताजनक बता रहे हैं।
जंगल सफारी प्रबंधन के अधिकारी इसके बाद भी पूरे मामले में जानकारी देने से बच रहे है। सफारी के डायरेक्टर से लेकर वन विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों ने मीडिया से दूरी बना ली है। दूसरे अधिकारी से बात करने का हवाला देकर अधिकारी अपनी गर्दन बचा रहे हैं। और तो और पर्यटकों की जान भी खतरे में डाली जा रही है। ऐसे में वो बीमार हुए तो इसका जिम्मेदार कौन होगा।
संक्रमण फैला, फिर भी पर्यटकों को भ्रमण करा रहे
हिरन, चौसिंगा, नील गाय संक्रमण की चपेट में आ गए हैं। ये जानकारी सफारी प्रबंधन, बीते एक हफ्ते से छिपा रहा है। प्रबंधन वन्य प्राणियों की मौत के बाद भी पर्यटकों को सफारी घुमा रहा है और कमाई करने में लगा है। यहां तक कि अधिकारी वन्य प्राणियों की मौत की जानकारी पर्यटकों से भी छिपा रहे हैं। जाहिर है ऐसे में इंफेक्टेड बाड़ों में घूम रहे पर्यटकों के संक्रमण की चपेट में आने का डर है। इसके बाद भी सफारी प्रबंधन के अधिकारी पर्यटको का सफारी भ्रमण बंद नहीं कर रहे है।
शेर, चीते और भालू को भी खतरा
जंगल सफारी प्रबंधन संक्रमित बाड़े में गाड़ियों के जरिए पर्यटकों को घुमा रहा है। गाड़ी हर बाड़े से गुजर रही है जिससे शेर, चीते और भालू जैसे वन्य प्राणियों में भी संक्रमण फैलने का खतरा है। जंगल सफारी प्रबंधन केमिकल घोल से संक्रमण को खत्म करने की बात कह रहा है, लेकिन विभागीय अधिकारियों का ये दावा कागजी साबित हो रहा है।
एक्सपर्ट भी नहीं बता पाए बीमारी
वन्य प्राणियों की मौत का मामला सुर्खियों में आने के बाद गुरुवार को जंगल सफारी के अधिकारियों के अलावा वन विभाग के दर्जनों अधिकारी और विशेषज्ञ मौजूद रहे। ये सभी अधिकारी सफारी परिसर के अंदर बने अस्पताल में दोपहर 12 बजे से लेकर शाम पांच बजे तक वन्य प्राणियों की जांच करते रहे। संक्रमण कैसे फैला इसका पता लगाने की कोशिश करते रहे, लेकिन देर शाम तक इसकी जानकारी उन्हें नहीं हो पाई। विभागीय सूत्रों के अनुसार वन्य प्राणी खाना नहीं खा रहे हैं। उन्हें ज्यादा लूज मोशन की शिकायत है। सभी वन्य प्राणियों को कर्मचारियों की मॉनिटरिंग में रखा गया है। CCTV कैमरों से भी अफसर निगरानी कर रहे हैं।
वेटनरी डॉक्टर पर कार्रवाई की तैयारी
जंगल सफारी प्रबंधन के अधिकारी वन्य प्राणियों की मौत के मामले में कुछ नहीं बोल रहे हैं। वहीं, जंगल सफारी के संचालक ने पशु चिकित्सक डॉ राकेश वर्मा पर कार्रवाई के लिए प्रधान मुख्य वन संरक्षक को पत्र लिखकर अनुशंसा की है। उन्होंने अपने पत्र में कहा, कि जांच के दौरान वन्य प्राणियों की हालत खराब दिखी थी।
उन्होंने सफारी के डॉक्टर डॉ राकेश वर्मा काे उनकी जांच के लिए कहा, लेकिन वो बिना अवकाश लिए भ्रमण पर चले गए और फोन बंद कर दिया। सफारी प्रबंधन वन्य प्राणियों की मौत का जिम्मेदार डॉक्टर गुप्ता को मान रहा है। कार्रवाई के लिए लिखा गया पत्र सोशल मीडिया पर वायरल भी हो रहा है।