पहले चरण का मतदान पूरा:छत्तीसगढ़-मध्यप्रदेश बॉर्डर पर भी दिखा मतदाताओं में उत्साह, 76 फीसदी वोटिंग

छत्तीसगढ़ में पहले चरण का मतदान आज पूरा हो गया। कुछ बूथों को छोड़कर लगभग सभी में मतदाताओं का उत्साह देखने को मिला। प्रदेश के पहले चरण के हाई प्रोफाइल सीट कवर्धा के अंदरूनी इलाकों में एक दर्जन से अधिक गांवों में बने बूथों का जायजा लिया। भास्कर मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ बॉर्डर पर इस विधानसभा के अंतिम गांव भुरसीपकरी पहुंचा। यहां दो और गाव बनगौरा और सुखझर भी हैं। इन तीन गांव के 602 वोटर हैं।
मतदान केंद्र के पीठासीन अधिकारी पंचराम बंजारे ने बताया कि गांव में पुरुषों की तुलना में महिला वोटर की संख्या अधिक हैं। सुबह 8 बजे से ही मतदान शुरू हो गया। वोटर काफी कम हैं, इसलिए लोग आसानी से वोट करते गए। सब कुछ सामान्य तरीके से हुआ। शाम पांच बजे तक कुल 461 लोगों ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। पुरुषों की तुलना में महिलाओं ने ज्यादा मतदान किया।
बीएसएफ के हवाले सुरक्षा
जिले का अंतिम छोर और तारेगाव जंगल के नजदीक होने के कारण इसे नक्सल प्रभावित क्षेत्र माना जाता है। इसलिए इतने छोटे मतदान केंद्र के लिए बीएसएफ के 15 से ज्यादा जवानों को तैनात किया गया था।
पलायन या अन्य कारण
गांव के कोटवार ने बताया कि जो वोट डालने नही आए हैं, वो या तो पलायन कर गए हैं या खेती के काम में लगे हैं। कुछ तो गांव से बाहर हैं।
कवर्धा विधानसभा के अंतिम बूथ भुरसीपकरी, दलदली, तरेगांव में 75 फीसदी से अधिक मतदान
दलदली में 81%मतदान
पास में लगे दलदली में कुल 81 फीसदी मतदान हुआ। यहां सुरक्षा में लगे जवान प्यारेजी ने बताया कि दिव्यांग और 80 साल से अधिक उम्र के मतदाताओं ने पहले ही वोटिंग कर ली थी, इसलिए यहां इस उम्र का कोई भी वोट डालने नहीं आया।
तरेगांव : फायरिंग सुनाई दी
भास्कर टीम जब तरेगांव जंगल पहुंची तो लोगों ने बताया कि यहां से लगभग 5 किलोमीटर दूर एक गांव में फायरिंग होने की बात सुनने में आई है। लेकिन इसकी पुष्टि नहीं हुई है। हालांकि तारेगांव में मतदान शांतिपूर्ण ढंग से चलता रहा। यहां 984 में से 721 लोगों ने वोट डाले।
भोंदा : बूथ में वोटरों की भीड़
भोंदा मतदान केंद्र पहुंचने पर अलग ही नजारा दिखा। पुरुष एक ओर जहां लाइन लगाकर खड़े थे, वहीं दूसरी ओर महिलाएं अपने हाथों में वोटर स्लिप लेकर बैठी अपनी बारी का इंतजार कर रही थीं। वोट डालकर लाठी के सहारे मतदान केंद्र से निकल रही गांव की मंगलइतीन ने बताया कि मायके में थी, तब से अब तक 11 से 12 बार वोट डाल चुकी हूंं। आने वाले चुनावों में भी वोट डालेंगी।