शिक्षकों की कमी से फूटा गुस्सा: बेलौदी में स्कूली बच्चों ने किया चक्काजाम
शिकायतों के बावजूद विभाग की उदासीनता पर ग्रामीणों में नाराजगी, घंटों रुका यातायात
स्कूलों में पढ़ाई ठप होने से नाराज बच्चों ने पालकों व ग्रामीणों के साथ सड़क पर उतरकर नारेबाजी की और शिक्षा विभाग पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाया।
दुर्ग-भिलाई
दुर्ग जिले के ग्राम बेलौदी में सोमवार सुबह उस समय हंगामा खड़ा हो गया, जब मिडिल और प्राइमरी स्कूल के बच्चे, उनके पालक और ग्रामीण शिक्षा व्यवस्था की खामियों के विरोध में सड़क पर उतर आए। शिक्षकों की कमी और लगातार प्रभावित होती पढ़ाई से नाराज बच्चों ने दुर्ग–नगपुरा मुख्य मार्ग पर बैठकर चक्काजाम कर दिया। देखते ही देखते सड़क के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं और आवागमन पूरी तरह बाधित हो गया। ग्रामीणों का कहना है कि महीनों से शिकायतें करने के बावजूद विभाग की ओर से कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई।
शिक्षकों की जगह बीएलओ ड्यूटी, स्कूलों में सूना माहौल
बेलौदी मिडिल स्कूल में पहले दो स्थायी शिक्षक और एक प्रधान पाठक तैनात थे। हाल ही में प्रधान पाठक का प्रमोशन होने पर उनका स्थानांतरण हो गया, जबकि दोनों शिक्षक बीएलओ ड्यूटी में लगा दिए गए हैं। संकुल प्राचार्य कुमुद सिंह का कहना है कि शिक्षकों की अनुपस्थिति से पढ़ाई लगभग ठप है और इसका सीधा असर छात्रों के भविष्य पर पड़ रहा है।
प्राथमिक स्कूल में भी वही स्थिति
प्राथमिक विद्यालय में भी एकमात्र शिक्षिका की ड्यूटी बीएलओ में लगाई गई है। मजबूरी में ग्राम पंचायत ने बच्चों की पढ़ाई बचाने के लिए वैकल्पिक शिक्षक की व्यवस्था की है। वहीं मिडिल स्कूल के लिए सितंबर में लाए गए शिक्षक स्वास्थ्य खराब होने के कारण मेडिकल अवकाश पर हैं।
बच्चों ने संभाला मोर्चा, पालक भी सड़क पर उतरे
लगातार अव्यवस्था से परेशान छात्रों ने खुद ही मोर्चा संभालते हुए सड़क पर बैठकर नारेबाजी की। पालकों और ग्रामवासियों ने भी इस आंदोलन का समर्थन किया। प्रदर्शनकारियों का कहना था कि विभाग का उदासीन रवैया बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ है।
प्राचार्य का दावा—सोमवार से सुधरेगी स्थिति
वहीं संकुल प्राचार्य ने कहा कि पढ़ाई प्रभावित न हो इसके लिए शनिवार को ही संबंधित स्टाफ को स्कूल में उपस्थित होने का निर्देश दे दिया गया था। उनके अनुसार सोमवार से स्कूलों में शिक्षक लौट आए हैं और पढ़ाई फिर से सुचारू करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। वर्तमान में प्राथमिक और मिडिल स्कूल मिलाकर कुल 159 बच्चे अध्ययनरत हैं।
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