सुशासन तिहार के तीसरे चरण में दुर्ग पहुंचे सीएम विष्णु देव साय, गर्मी में भी उमड़ा जनसैलाब
ग्राम मुरमुंदा में जनसभा के दौरान सीएम ने सुशासन का रिपोर्ट कार्ड जनता के सामने रखा, समस्याएं सुनीं, कांग्रेस पर भी जमकर बरसे
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय सुशासन तिहार के तीसरे चरण के तहत रविवार को दुर्ग जिले के अहिवारा विधानसभा क्षेत्र के ग्राम मुरमुंदा पहुंचे। भारी गर्मी के बावजूद बड़ी संख्या में ग्रामीणों ने जनसभा में शिरकत की और मुख्यमंत्री का जोरदार स्वागत किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने न केवल जनसमस्याएं सुनीं, बल्कि विकास कार्यों का रिपोर्ट कार्ड भी जनता के समक्ष प्रस्तुत किया। साथ ही, ACB-EOW की कार्रवाई और विपक्ष के आरोपों पर भी बेबाक प्रतिक्रिया दी।
दुर्ग। राज्य सरकार की ओर से चल रहे सुशासन तिहार के तीसरे चरण में मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने दुर्ग जिले के ग्राम मुरमुंदा में एक जनसभा को संबोधित किया। इस दौरान डिप्टी सीएम विजय शर्मा, सांसद विजय बघेल, स्थानीय विधायक और अन्य जनप्रतिनिधि भी मौजूद रहे। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह अभियान केवल उत्सव नहीं, बल्कि जनसेवा और जवाबदेही का एक माध्यम है।
मुख्यमंत्री ने सभा में कहा, "हम पूरे प्रदेश में सुशासन तिहार मना रहे हैं। इसमें हम जनता के बीच रिपोर्ट कार्ड लेकर पहुंचे हैं, ताकि पता चल सके कि योजनाओं का लाभ लोगों तक पहुंच रहा है या नहीं। यह केवल उत्सव नहीं, जनता से सीधे संवाद का अवसर है।"
ग्राम मुरमुंदा की सभा में ग्रामीणों ने भारी संख्या में हिस्सा लिया और मुख्यमंत्री को गर्मजोशी से अभिवादन किया। सभा के पहले मुख्यमंत्री ने आकस्मिक निरीक्षण कर विभिन्न योजनाओं की स्थिति का जायजा भी लिया।
ACB और EOW की कार्रवाई पर सीएम का बयान:
मुख्यमंत्री साय ने कहा, "जांच एजेंसियां अपना काम कर रही हैं। जिनके खिलाफ शिकायतें मिली हैं, जांच चल रही है। दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। सरकार भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति पर काम कर रही है।"
विपक्ष के आरोपों पर पलटवार:
कांग्रेस द्वारा मनरेगा फंड में कटौती के आरोपों पर मुख्यमंत्री ने तीखा जवाब दिया।
उन्होंने कहा, "कांग्रेस को झूठ बोलने में महारत हासिल है। वे इतने सहजता से झूठ बोलते हैं कि चेहरे पर शिकन तक नहीं आती। उन्हें झूठ बोलने में पीएचडी मिल चुकी है। मनरेगा जैसी योजनाओं को लेकर भ्रम फैलाना उनकी आदत बन चुकी है।"
जन संवाद और समस्या समाधान पर फोकस:
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस अभियान का मूल उद्देश्य केवल योजनाओं की जानकारी देना नहीं है, बल्कि यह जानना है कि जनता को उनका लाभ मिल भी रहा है या नहीं। कई ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री के सामने व्यक्तिगत और सामूहिक समस्याएं रखीं, जिन पर संबंधित अधिकारियों को मौके पर ही निर्देश दिए गए।
भीषण गर्मी में भी दिखा जनसमर्थन:
40 डिग्री से अधिक तापमान के बावजूद गांव के पुरुष, महिलाएं, बुजुर्ग और युवा बड़ी संख्या में मुख्यमंत्री की सभा में पहुंचे। इससे साफ है कि जनता सरकार की नीतियों और कार्यप्रणाली में भरोसा दिखा रही है।
सुशासन तिहार की यह तीसरी कड़ी न केवल शासन की पारदर्शिता और जवाबदेही को दर्शाती है, बल्कि यह भी सिद्ध करती है कि सरकार जनसमस्याओं को प्राथमिकता पर रखकर उनके समाधान के लिए मैदान में उतर चुकी है।